बुंदेलखंड में पानी की समस्या को दूर करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को केन-बेतवा नदी परियोजना का शिलान्यास किया। मध्य प्रदेश के खजुराहो में 100वीं अटल जयंती के मौके पर आयोजित कार्यक्रम में इस परियोजना की आधारशिला रखी गई। इस परियोजना से मुख्य रूप से दो प्रमुख समस्याओं सिंचाई और पेयजल संकट का समाधान होगा। इससे मध्य प्रदेश की 44 लाख और उत्तर प्रदेश की 21 लाख आबादी को पीने का पानी मिलेगा। साथ ही, 7 लाख किसानों को सिंचाई का पानी मिलेगा। इसके अलावा, 103 मेगावाट पनबिजली और 27 मेगावाट सौर ऊर्जा का उत्पादन भी होगा।
मध्य प्रदेश के 10 जिलों पन्ना, दमोह, टीकमगढ़, छतरपुर, निवाड़ी, सागर, रायसेन, विदिशा, शिवपुरी और दतिया के किसानों को इसका सीधा लाभ मिलेगा। केन बेतवा नदी परियोजना के तहत पन्ना टाइगर रिजर्व में केन नदी पर 77 मीटर ऊंचाई और 2.13 किलोमीटर लंबा दौधन बांध सहित 2 टनल का निर्माण होगा। बांध में 2,853 मिलियन घन मीटर जल भंडारण होगा। इससे 2 हजार गांवों में 8.11 लाख हेक्टेयर सिंचाई होगी, जिससे 7 लाख किसानों को सीधा फायदा पहुंचेगा।
इस परियोजना पर 44,608 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है जिसमें से 90 प्रतिशत खर्च केंद्र सरकार उठाएगी। वहीं 10 प्रतिशत राशि राज्य सरकार उठाएगी। इस परियोजना का उद्देश्य मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश में पानी की उपलब्धता में सुधार लाना है, जिससे कृषि, जल आपूर्ति और जीवन स्तर में सुधार होगा।
आठ साल में पूरी होगी परियोजना
परियोजना को दो चरणों में पूरा किया जाएगा और कुल 8 साल में पूरा होगा। पहले चरण में मध्य प्रदेश के छतरपुर और पन्ना जिलों में केन नदी पर दौधन बांध का निर्माण किया जाएगा। इसके लिए 3,400 करोड़ रुपये की राशि स्वीकृत की गई है। भूमि अधिग्रहण का काम 60 प्रतिशत पूरा हो चुका है। यह परियोजना न केवल सिंचाई के लिए जल उपलब्ध कराएगी, बल्कि पेयजल की समस्या को भी दूर करेगी।
इन परियोजनाओं का भी शिलान्यास
देश की सबसे बड़ी फ्लोटिंग सौर ऊर्जा परियोजना का लोकार्पण भी खजुराहो से किया गया। यह परियोजना स्वच्छ और हरित ऊर्जा के क्षेत्र में एक बड़ा कदम है। इससे न केवल ऊर्जा उत्पादन होगा, बल्कि पर्यावरण संरक्षण में भी मदद मिलेगी।
इस मौके पर प्रधानमंत्री ने 1,153 अटल ग्राम सुशासन भवनों का भूमि पूजन भी किया। ये भवन ग्रामीण विकास के केंद्र के रूप में कार्य करेंगे और सुशासन की नई मिसाल पेश करेंगे। इन भवनों के निर्माण के लिए पहली किस्त भी जारी की गई।
इस अवसर पर पूर्व प्रधानमंत्री स्व. अटल बिहारी वाजपेयी की स्मृति में एक विशेष डाक टिकट और सिक्का भी जारी किया गया। प्रधानमंत्री ने वाजपेयी के विचारों और योगदान को याद करते हुए उन्हें श्रद्धांजलि दी।