केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री (Minister of Commerce and Industry) पीयूष गोयल (Piyush Goyal) ने राष्ट्रीय जैविक उत्पादन कार्यक्रम (NPOP) के आठवें संस्करण का उद्घाटन किया. इस दौरान उन्होंने आगामी 3 वर्षों में ऑर्गेनिक खेती (Organic Farming) के प्रोडक्शन के बढ़ने की संभावना जताई. पीयूष गोयल (Union Minister Piyush Goyal) ने इस दौरान कहा कि इससे इससे ऑर्गेनिक खेती (jaivik Kheti) करने वाले किसानों को काफी लाभ होगा.
पीयूष गोयल (Piyush Goyal Organic Farming) ने कहा कि भारत में ऑर्गेनिक उत्पादों (Organic Products) का निर्यात अगले तीन सालों में तीन गुना बढ़कर 20,000 करोड़ रुपये तक पहुंचने की संभावना है. गोयल ने कहा कि भारतीय किसानों (Farmers) को ऑर्गेनिक फार्मिंग की ओर बढ़ना होगा और घरेलू उत्पादन बढ़ाते हुए इंटरनेशनल मार्केट पर भी प्रभुत्व बनाना चाहिए. वर्तमान में देश तकरीबन 5000-6000 करोड़ रुपये के ऑर्गेनिक उत्पादों का निर्यात करता है, जो अगले 3 सालों में बढ़कर रु 20,000 करोड़ तक पहुंच सकता है.
पीयूष गोयल ने कहा कि सहकारिता मंत्रालय, कृषि मंत्रालय और वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय एक साथ मिलकर ऑर्गेनिक फार्मिंग की प्रगति के लिए काम कर रहे हैं, वे किसानों और किसान उत्पादक संगठनों को कौशल विकास, प्रशिक्षण, निर्यात संवर्धन, विपणन एवं पैकेजिंग आदि में सहयोग प्रदान करते हैं. दुनिया भर में ऑर्गेनिक उत्पादों की मांग तकरीबन 1 लाख करोड़ रुपये की है और उत्पादन और प्रोमोशन बढ़ने से यह मांग 10 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच सकती है.
अगर ऑर्गेनिक खेती की बात करें तो दुनिया में सबसे ज्यादा जैविक खेती करने वाले किसान भारत में हैं और क्षेत्रफल की दृष्टि से जैविक खेती के मामले में भारत विश्व में तीसरे स्थान पर है. पीयूष गोयल ने कहा कि ऐसे में इस क्षेत्र में प्रयासों को बढ़ाकर हम ओर्गेनिक फार्मिंग में ग्लोबल लीडर के रूप में उभर सकते हैं. ऐसा करने से न सिर्फ किसानों की आय बढ़ेगी बल्कि इंटरनेशनल बाज़ारों में भारतीय ओर्गेनिक उत्पादों को प्रोमोट भी किया जा सकेगा.
इस मौके पर केंद्रीय मंत्री ने NPOP पोर्टल का अनावरण किया. इस पोर्टल के माध्यम से ओर्गेनिक उत्पाद की बिक्री और निर्यात करने वाले हितधारकों के लिए प्रकिया सरल हो जाएगी. उन्होंने एनपीओपी के अपग्रेडेड ट्रेसेबिलिटी प्लेटफॉर्म ट्रेसनेट 2.0 को भी लॉन्च किया. कार्यक्रम के दौरान गोयल ने ट्रेसनेट 2.0 द्वारा जनरेटेड पहले पांच रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट ऑर्गेनिक ऑपरेटर्स को दिए.
इस दौरान नए तरीके से डिज़ाइन किए गए एपीडा पोर्टल को भी दर्शाया गया, जो कृषि और प्रसंस्कृत खाद्य के बारे में ज़रूरी जानकारी देता है. साथ ही पुनः डिज़ाइन किया गया एग्री एक्सचेंज पोर्टल भी इस अवसर पर लॉन्च किया गया, जो यूज़र के अनुकूल डेटा विश्लेषण में सक्षम है और कृषि निर्यात से संबंधित रिपोर्ट्स और डेटा को आम जनता के लिए सुलभ बनाता है.
वाणिज्य विभाग के अपर सचिव एवं चेयरमैन, एनपीओपी राजेश अग्रवाल ने बताया कि अपग्रेडेड एनपीओपी पोर्टल पारदर्शिता बढ़ाने और किसानों के सशक्तीकरण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा. एनपीओपी के आठवें संस्करण का उद्देश्य भारत के जैविक खाद्य निर्यात को 2030 तक 2 अरब अमेरिकी डॉलर तक पहुंचाना है.