भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) ने को-ऑपरेटिव बैंकों के लिए एक बड़ा नियामक अपडेट जारी किया है। इसके तहत सभी शहरी सहकारी बैंक (UCBs), राज्य सहकारी बैंक (StCBs) और जिला केंद्रीय सहकारी बैंक (DCCBs) को अब अपने इंटरनेट बैंकिंग रिटर्न (R065) और मोबाइल बैंकिंग रिटर्न (R102) नए शुरू किए गए सेंट्रलाइज़्ड इंफॉर्मेशन मैनेजमेंट सिस्टम (CIMS) पोर्टल के माध्यम से जमा करने होंगे।
कब से लागू?
यह व्यवस्था अगस्त 2025 से प्रभावी होगी। जमा करने की आखिरी तारीख हर महीने की 7 तारीख तय की गई है।
उदाहरण: अगस्त 2025 का रिटर्न 7 सितंबर 2025 तक जमा करना होगा।
मुख्य बिंदु
- रिटर्न केवल CIMS पोर्टल (https://cims.rbi.org.in/#/login) पर जमा होंगे।
- RBI ने हर रिपोर्टिंग संस्था के लिए एडमिन यूजर नामित किए हैं, जो लॉगिन क्रेडेंशियल जनरेट करेंगे।
- यह कदम डेटा रिपोर्टिंग को एकरूप और पारदर्शी बनाने के लिए है।
- गैर-अनुपालन पर पेमेंट एंड सेटलमेंट सिस्टम्स एक्ट, 2007 की धारा 12 और 19 के तहत दंडात्मक कार्रवाई हो सकती है।
RBI का उद्देश्य
सहकारी बैंकों सहित सभी बैंकों की रिपोर्टिंग प्रणाली को एकीकृत और आधुनिक बनाना। सूचना की सटीकता और समयबद्धता सुनिश्चित करना। बैंकिंग क्षेत्र में बेहतर निर्णय और जोखिम प्रबंधन को बढ़ावा देना।
बैंकों के लिए चुनौती
अपने आंतरिक आईटी सिस्टम और प्रक्रियाओं को CIMS के अनुरूप अपग्रेड करना होगा। नए रिपोर्टिंग मानकों का पालन सुनिश्चित करना होगा ताकि दंड से बचा जा सके। मजबूत आंतरिक नियंत्रण और अनुपालन व्यवस्था स्थापित करनी होगी।